सीमाञ्चल समदिया,
जनकपुरधाम । अइबेर धनखेती सपरल छै । धान उत्पादन लेल आवश्यक पानि समय-समय पर बरसलास’ धानके लेल अमृत भगेल छै । तहि दुवारे आनसालके अपेक्षा धानके उब्जा अधिक होएत, ई सोंइचक कृषकसभ हर्षित छै । आइ सीमाञ्चल समदिया धनुषा, महोत्तरीके किछुक्षेत्रकेँ स्थलगत अवलोकण कएलक । ओइमे ई बात बुझमे आएल । कोरोना महामारीकालकेँ बन्दा-बन्दी प्रकृतिकेँ सुधार हुअमे परम सहयोगी भेल छै ।
लकडाउन प्रायः गृहस्तके सेहो आर्थिक बैट्री डाउन कदेने छै । ओ चार्जिङ्गके काज अइबेरुका धनखेती करत । महोत्तरी रानी रतवारा गामके कृषक महादेव भगत सीमाञ्चल समदियासंग बजलाह । हुनक कहब अनुसार ‘‘ हमरासभ एम्हर पानिय पानिय भगेलै । बिछन सुहुन दहागेल । तीनबेर धान रोप परल । तेहन समस्या त’ भेल । मु्दा आब खेतमे धानके जरियौठा हरियरी देखक मन प्रसन्न हबे ’’ मनी बेसी अवश्य देत, महादेव बजलाह ।
हमरा सभकेँ चौरीमे पीपरालग बहैत बिग्गही(कुटमेश्री)धारके बाढि़के पानि चैल आबैत छै । धारके पानि ललीयाएल रहैछै । कृषक आ कृषि उत्पादन लेल आब बिग्ही धारकेँ पानि अभिसाप बनैत जारहल छै । खेतमे ओ पानि बड नोक्सानी करैत छै । महोत्तरी पीपरा गाम पालिका वार्ड नं.२ निवासी नन्कू ठाकुर बतौलाह ।
क्षीरेश्वरनाथ नगरपालिकाके महेनद्रनगर स्थित एभरेष्ट पेपर मीलस’ निकलैत केमिकल युक्त बिषादी पानि नदीेमे बहैत अएलाके कारण कृषिजन्य उत्पादनमे नोकसान देह होइत छै । ओइ दिस कृषक ठाकुर संकेत कएलाह ।
छत्ता तनने पैना लेने धानखेतके आइरसभ पर घुमैत मुआयना करैत अवस्थामे ओ महोत्तरी सिरसिया गाम लगके चौरीमे भेटलाह । खेतदिस पैना देखबैत बतबैत ओ बजलाह-‘‘दाहरमे अहुबेर नदिके खूब पानि अएलै । मुदा अइबेर बर्षा एतेक भेलै जे ओ दबाइबाला पानि दहाक चैल गेलै । वर्षाके पानि खेतमे बेसी जमकल रहलै । तहिस’ धानखेती अइबेर बेसी उजियाएल छै । चौरीके सभखेतबाला गदगद छै’’ करिब ७८ वर्षिय कृषक ठाकुर सीमाञ्चल समदिया समक्ष बजलाह ।
एम्हर लगातार कए वर्षस’ हमरा अइ सिरसियाचौरीमे एहन धान फरगर नइ होइत छल । अइबेर बड निक भेल छै , आनबेर जकाँ खाइदो ओतक नइ दिअ पड़ल तैयो झरौठ देखियौ… केहन भेल छै । ’ ठाकुर हर्षित होइत बतबैत खेतमे लागल धान देखौलहा ।
चौरीमे जे जेना रोपने छै अगत पछता ओहिना रोपल धान अखनु कतेकके गाभ धनेने छै , कतेके फूलाइत छै, कतेकोके फरी धलेने छै । मुदा कृषक सभकेँ एकटा समस्या खेहाइर रहल छै छोटका छोटका रमघोरुवा पिलुवा धान पर लाइग रहल छै । आओर कोनो समस्या नइ छै । ओकरा लेल दबाई छिट पैरसकैछै । नन्कू ठाकुर बतबैत कतबो पिलुवा लगतै तैयो आनसलस’ नीके धान होतै तैमे ओ विश्वस्त छैथ ।
महोत्तरीकेँ रतवारा, मड़ै, गोनपुरा, गेना बथनाह आदि ठाममे धान पछता रोपलगेल छै । ओम्हर रातोधारके बाढि़ तबाह कएने छल । तहिस’ प्रायः लोकके पछता रोपनी सेहो करए पड़ल, आब फूलाए लागल छै धान । मुदा ओम्हर एकटा पैघ समस्या कृषवर्गके होइछै जङ्गलिया सुग्गर आ घोड़गद्दरा के !
दाँत निकलल जङ्गलिया सुग्गर आइर-धूर कोइरक तहस नहस कदैत छै । खेतके पानि बैहक चैलगेल । घोड़गद्दर चैरगेल । समय-कुसमयमे ओकरा भगाबलेल तैनात रह पड़ैत छै । लोककेँ ई बड़का फिरसानी दिनराइत उठाब पैर रहल छै । जनस्तरस’ नइ ई राज्यस्तरस’ एकर निदान कएल जासकैत छै । धरल्लेस’ कटान होइत जारह वन-जङ्गलके कारण वनजीव आब गाम चौरी-चाँचरस’ होइत नगर बजारक्षेत्रमे सेहो हरोर करैत आएल छै । महोत्तरी मनरासिश्वा नगरपालिकाके भोलही निवासी नविण पाण्डे बतौलाह ।
जेहो प्रकृति खूश छै, मौशम नीक छै , समय समय पर पानि होइत आएल छै । प्रकृतिमे अद्भूत बदलाव आएल छै । समय आपरुप करौट फेरलकैए तेकरे देन छै अन्नबालीके प्रमुख बाली धान अइबेर बेसी सपरल छ्र तैँ कृषकसभ हर्षित छै । प्रदेश दूके धनुषा, सिरहा सप्तरी सर्लाही प्रायः सभतर धनखेती सपरल छै ।
सम्पूर्णचित्र – उपेन्द्रभगत नागवंशी
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