जनकपुरधाम । प्रजातन्त्र तथा प्रेस स्वतन्त्रता सेनानी, निर्भिकताके प्रतिमूर्ति बरिष्ठ पत्रकार एवं साहित्यकार राजेश्वर नेपाली एहि संसारस’ विदाह भगेलाह ।
नेपाली पत्रकारिताके सीखरपुरुष आब इतिहासमे मात्र अंकित रहताह । पत्रकारिताक भिष्म पितामह समेतस’ सम्बोधित होइत आएल नेपालीजी आइ सोम दिन साँझमे ८ बाजिक १० मीन्टपर स्थानीय मैक्स लाइफ अस्पतालमे अन्तिम श्वास लेलाह ।
विगत १४ महिनास’ बेमार पड़ल नेपालीजी २०७९कार्तिक-२२ गतेस’पुरापुरी बिछाओन धएने छलाह । ओहिस’ पहिने भारतके दिल्ली स्थित विभिन्न अस्पतालमे उपचार हेतु भर्ति छलाह । हुनक पुत्र राघवेन्द्र प्रसाद साह से जनतब देलाह ।
नेपाली जीके निधनस’ नेपाली पत्रकारिता जगत विरान भेल अनुभूति कएल जारहल छै । स्रष्टासभकेँ स्मरण करब , हुनक योगदानकेँ कदर करब आ जन्मदिन, स्मृति दिवस आदि मनाएब काज करएबाला जानकीनगरि जनकपुरधाममे केओ छलाह त’ ओ सुच्चा देशभक्त नेपाली जी छलाह । आब ओहु पर विराम लागल ।
अपन जन्मदिनस’ मात्र दिन ८ दिन अगते नेपालीजी एहि संसारके छोइरक बैकुण्ठ बासी भ’ गेलाह । जनकपुरधाम उपमहानगर पालिका वार्ड नं.२३के बेला गाममे पिता रामदुलार साह एवं माता इन्द्रमणि देवीके कोइखस’ २००२ साल, भादव-१९ गतेक पृथ्वीपर अवतरित भेल छलाह ।
मध्यवर्गिय सम्पन्न गृहस्त परिवारमे जन्मल नेपालीजी एम.ए.धैरके उच्चशिक्षा प्राप्त कए मिशन पत्रकारितास’ अपन पत्रकारिता जीवन आरम्भ कएने छलाह । २०१५ सालमे जानकी नओमी तिथिक दिन कविता लेखन आ वाचनस’ साहित्य लेखन शुरु कएने छलाह ।
तेकराबाद निरन्तर देश समाजके हित हेतु, निरंकुशतन्त्र बिरुद्ध, लोकतन्त्र, समाजवाद एवं समानताक हक लेल अपन लेखनी मादे स्वर बूलन्द करैत रहलाह । बरिष्ठ पत्रकार नेपाली जी २०१८ साल कातिक-२६गतेस’ पत्रकारिता आरम्भ कएने छलाह ।
ओहि दिनमे मिथिलानगरि जनकपुरधाममे नेपाली काँग्रेसके नेता महेन्द्रनारायण निधि, बलराम नायक सहित पकरलगेल छलैथ । ओहे सर्वप्रथम समाचार ‘नेपाल सन्देश’ नामक पत्रिकामे लेखन कए नेपाली पत्रकारिता आरम्भ कएने छलाह ।
प्रोस्टेड कैन्सर, बाबसिरस’ पीडि़त छलाह । विभिन्न आन्दोलनमे खयने माइरस’ रीड़के हड्डी चनकल छल, ओहो चनकल हड्डि झैरक खैस पड़लास’ चलब बुलब पुरापुरी ११ महिनास’ बन्न छल ।
सांस्कृतिक अभियन्ता, भाषिक आन्दोलनकर्मी समेत रहल नेपाली जीकेँ मैथिली, नेपाली, हिन्दी भाषामे तीनदर्जन जतेक विभिन्न विषयक पुस्तक प्रकाशित छै । हजारों आलेख विभिन्न पत्रिका म्यागजिनमे प्रकाशित छै ।
हुनक जेष्ठ सन्तान रविन्द्र साह दू दशक जतेक समय पहिने संसार छोइर गेलैथ । श्रीमति सरस्वति देवी साहकेँ कोभिडके समयमे निधन भगेल छल । आब घरमे एकटा पुत्र राघबेन्द्र, दूटा बहु, चारिटा पोता-पोती छैन्ही । एकर अतिरिक्त ४ पुत्री एवं जमाय आ नाति-नातिनी दर्जनो संख्यामे अपना पाछा छोइर गेलाह ।
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